Sunday 23 November 2014

मेरी अर्द्धांगिनी

मेरी अर्द्धांगिनी 

मेरे जिस आधे अंग में तुम रहती हो 

वो मेरी सारी खुशियों की वजह है

और उन खुशियों से तुम मुझे पूरा करती हो 

मेरी अर्द्धांगिनी 

तुम्हारे चेहरे पर फैली हुयी मुस्कराहट 

में ही है मेरी खुशियों की आहट 

और उस आहट की चाह में 

मेरी ज़िन्दगी तुम पर न्योछावर है 

मेरी अर्द्धांगिनी 

मेरी हर सांस पर तुम्हारा नाम लिखा है 

हर धड़कन तुम्हारे नाम किया है मैंने 

मेरा आधा हिस्सा होकर भी तुम 

मेरी पूरी ज़िन्दगी हो 

मेरी अर्द्धांगिनी 

मेरी ज़िन्दगी की हर बात में तुम हो 

मेरे हर दिन रात में तुम हो 

मेरी हर जज़्बात में तुम हो 

तुम से मैं हूँ मेरी ज़िन्दगी 

मेरी ज़िन्दगी तुम हो

मेरी अर्द्धांगिनी